पीरियड्स देरी से आने के होते हैं 5 कारण

आज कल के भाग दौड़ की जिंदगी में महिलाओं के शरीर में पीरियड्स देरी से होने की समस्या बढ़ती जा रहती हैं। ऐसे तो इसे नॉर्मल समस्या माना गया हैं। लेकिन जब पीरियड्स होने में ज्यादा देर होता हैं तो महिलाओं को गर्भाधान करने में समस्या होने लगती हैं। आज इसी संदर्भ में साइंस के अनुसार हम आपको बताएँगे की ऐसा कौन सा कारण हैं जिसकी वजह से महिलाओं को पीरियड्स होने में देरी होती हैं तथा उसे पीरियड्स के दौरान असहनीय दर्द का सामना करना पड़ता हैं। तो आइये जानते हैं विस्तार से की पीरियड्स देरी से आने के होते हैं 5 कारण।

थाइरॉइड प्रॉब्लम, साइंस के अनुसार वैसी महिलाएं जो थाइरॉइड प्रॉब्लम की समस्या से ग्रसित होती हैं उसका पीरियड्स देरी से होते हैं तथा पीरियड्स के दौरान उसे असहनीय दर्द का भी सामना करना पड़ता हैं। क्यों की थाइरॉइड प्रॉब्लम के कारण महिलाओं के शरीर में हार्मोन्स असंतुलित रहते हैं जिससे महिलाओं का मासिक चक्र ख़राब हो जाता हैं। इससे बचने के लिए महिलाओं को डॉक्टर से संपर्क करनी चाहिए और अपने थाइरॉइड का चेकअप ज़रूर करानी चाहियें ताकि भविष्य में उसे कोई बड़ी समस्या का सामना पड़ें।
मोटापा, दरअसल जब कोई महिला मोटापा से ग्रसित हो जाती हैं तो उसके ओवरीज़ बंध हो जाते हैं। जिसके कारण महिलाओं का पीरियड्स समय पर नहीं होता हैं और उसे पीरियड्स के दौरान अधिक जलन पर दर्द का भी सामना करना पड़ता हैं। इससे छुटकारा पाने के लिए व्यायाम सबसे बेहतर उपाय हैं। ऐसी महिलाएं अपने वजन को कम करके पीरियड्स की इस समय से बच सकती हैं और खुद को स्वस्थ और सेहतमंद बना सकती हैं।
तनाव और डिप्रेशन, साइंस के अनुसार तनाव और डिप्रेशन वो मानसिक बीमारी हैं जो इंसान के क्रिया कलापों को सबसे ज्यादा प्रभावित करता हैं। इसलिए महिलाओं में पीरियड्स देरी से होने का एक सबसे बड़ा कारण तनाव और डिप्रेशन भी होता हैं। इससे महिलाओं का शरीर अस्वस्थ और ऊर्जाहीन हो जाता हैं और उसे पीरियड्स के दौरान पेट दर्द और सिर दर्द की समस्या बनी रहती हैं। इसलिए इससे बचने के लिए महिलाओं को हैप्पी जिंदगी जीना चाहिए और इस तनाव और डिप्रेशन से खुद को बचा कर रखना चाहियें।
नींद की कमी, वैसी महिलाएं जिनमें नींद की कमी होती हैं उस महिलाओं में एंड्रोजन का निर्माण ठीक से नहीं हो पाता हैं जिसके कारण महिलाओं को पीरियड्स देरी से होने की समस्या हो जाती हैं। साथ हीं साथ इससे महिलाएं जल्दी गर्भाधान भी नहीं कर पाती हैं। इसलिए एक स्वस्थ और सेहतमंद लाइफ के लिए महिलाओं को कम से कम 8 घंटे नींद ज़रूर लेनी चाहियें। इससे शरीर भी स्वस्थ रहेगा और पीरियड्स संबंधित समस्या भी नहीं होगी।
अर्ली मनेपॉज, साइंस के अनुसार जब महिलाओं का उम्र 40 से ऊपर का हो जाता हैं तो उसके शरीर में अंडे का निर्माण होना बंद होने लगता हैं इस अवस्था को अर्ली मनेपॉज करते हैं। इस समय महिलाओं को पीरियड्स देर से होते हैं। क्यों की यह अवस्था महिलाओं के शरीर में पीरियड्स ख़त्म होने का होता हैं इस दौरान महिलाओं को कभी कभी असहनीय दर्द की भी समस्या होती हैं। लेकिन यह एक नॉर्मल प्रकिया होती हैं इससे महिलाओं को डरने की कोई आवश्यकता नहीं हैं।


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