पाकिस्तान में हिंदू होने का दर्द सुन आपको रोना आ जाएगा, पढ़ें रिपोट

न्यूज डेस्क: भारत में लोग नागरिकता कानून को लेकर जगह जगह पर विरोध कर रहे हैं। लेकिन वो लोग पकिस्तान में हिन्दुओं पर हो रहे अत्याचार के बारे में नहीं सोच रहें हैं। आज इसी विषय में एक रिपोट के अनुसार जानने की कोशिश करेंगे की पाकिस्तान में हिंदू होने का दर्द क्या हैं। वहां हिन्दुओं पर कैसे कैसे जुर्म किये जाते हैं। तो आइये इसके बारे में जानते हैं विस्तार से। 
पाकिस्तान से आये हिंदू लोगों का ये कहना हैं की पकिस्तान के सिंध हैदराबाद शुबे से हम आए हैं, पाकिस्तान में एक लड़की की शादी की उम्र 18 साल फिक्स की गई है, लेकिन हमारी बेटियों को 13 से 14 साल की उम्र में उठा ली जाती है और जबरन उन्हें इस्लाम कबूल कराया जाता है, और फिर उनकी शादी किसी 40 से 50 साल के बुजुर्ग के साथ करा दी जाती है, अगर हम ने इसका विरोध किया तो, हमारे साथ जबरन मारपीट की जाती है और वहां की पुलिस इसमें हमारी कोई मदद नहीं करती और ना ही अदालत करती है। 

पकिस्तान में रहने वाले हिंदू अपने रिश्तेदारों का अंतिम संस्कार भी वहां नहीं कर सकते, क्योंकि वहां के मुस्लिम यह चाहते हैं कि हम अपने रिश्तेदारों के शव को कब्रिस्तान में दफना दें, अगर हम ऐसा नहीं करते हैं, तो वहां पर भीड़ इकट्ठा हो जाती है, हमारे साथ मारपीट करती है और हमारे घर को तोड़ देती है। आप इस बात से अंदाजा लगा सकते हैं की पकिस्तान में हिंदू होना कितना गुनाह हैं। वहां हिन्दुओं पर किस तरह से अत्याचार किये जाते हैं। 

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