स्मार्टफोन वितरण योजना का उद्देश्य:
यूपी सरकार का मानना है कि स्मार्टफोन मिलने से प्रदेश के युवा अपने शैक्षिक पाठ्यक्रमों में सफलता प्राप्त कर सकेंगे और उन्हें डिजिटल उपकरणों के माध्यम से रोजगार के अवसरों का भी फायदा मिलेगा। खासतौर पर, स्नातक, स्नातकोत्तर, डिप्लोमा और कौशल विकास कार्यक्रमों के छात्रों को इन स्मार्टफोन का फायदा होगा।
योगी सरकार के मुताबिक, स्मार्टफोन से युवाओं को न केवल शैक्षिक गतिविधियों में मदद मिलेगी, बल्कि ये उन्हें विभिन्न सरकारी और निजी योजनाओं का लाभ लेने में भी सक्षम बनाएंगे। इसके अलावा, युवाओं को स्वरोजगार, ऑनलाइन व्यवसाय, और डिजिटल सेवाओं के माध्यम से आत्मनिर्भर बनने का अवसर मिलेगा।
वित्तीय विवरण:
यह योजना प्रदेश के बजट में महत्वपूर्ण स्थान रखती है, और इसके लिए 2493 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। एक स्मार्टफोन की कीमत 9972 रुपये तय की गई है, जिससे कुल 25 लाख स्मार्टफोन की खरीद का खर्च आ रहा है। इस कार्य के लिए कैबिनेट ने बुधवार को अंतिम बिड डाक्यूमेंट को मंजूरी दे दी। अब जल्द ही स्मार्टफोन खरीदने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी।
नोडल एजेंसी और कार्यप्रणाली:
उत्तर प्रदेश सरकार ने यूपी डेस्को (यूपी डिस्ट्रीब्यूटेड इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कंप्यूटर ऑफिस) लखनऊ को इस योजना का नोडल एजेंसी नियुक्त किया है, जो स्मार्टफोन की खरीद और वितरण प्रक्रिया की निगरानी करेगा। यह एजेंसी योजना के सुचारू क्रियान्वयन और वितरण को सुनिश्चित करेगी।
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