NTPC के अधिकारियों के मुताबिक पुरानी इकाई होने के कारण बिजली उत्पादन में अधिक कोयला लग रहा था, साथ ही साथ बिजली का उत्पादन लागत बढ़ता जा रहा था। जिसके कारण बिहार के इन दो यूनिटों को बंद करने का फैसला लिया गया हैं।
आपको बता दें की कांटी और बरौनी बिजलीघर 110 मेगावाट बिजली का उत्पादन करता हैं। NTPC की माने तो इन इकाइयों से प्रदूषण भी फैल रहा है लिहाजा कांटी और बरौनी की दोनों पुरानी इकाइयों को बंद करने का निर्णय लिया गया हैं।
कांटी बिजली घर से 5 रुपये से अधिक की दर से प्रति यूनिट बिजली मिल रही थी जबकि इससे कम दर पर बाजार से बिजली उपलब्ध है। जिसके कारण बिहार सरकार यहां से बिजली लेना बंद कर दी हैं। यहीं हाल बरौनी यूनिट का भी हैं। इन्ही सब कारणों की वजह से NTPC इसे बंद करने जा रहा हैं।
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