क्यों किया गया ये बदलाव?
दरअसल, यह संशोधन साल 2018 में हुई शिक्षक भर्ती प्रक्रिया से जुड़ी परेशानियों को ध्यान में रखकर किया गया है। उस समय कंप्यूटर विषय के लिए B.Ed डिग्री अनिवार्य होने के चलते अधिकांश पद खाली रह गए थे। आंकड़ों के अनुसार, कुल 1673 रिक्त पदों में से 1637 पदों पर कोई नियुक्ति नहीं हो सकी थी। इस स्थिति ने सरकार को मजबूर किया कि वह नियमों में बदलाव कर योग्य उम्मीदवारों को अवसर प्रदान करे।
अब क्या है नया नियम?
उत्तर प्रदेश अधीनस्थ शिक्षा सेवा नियमावली 2024 के तहत अब कंप्यूटर विषय के सहायक अध्यापक पदों के लिए B.Ed को केवल एक अधिमानी योग्यता के रूप में शामिल किया गया है, यानी जिनके पास B.Ed है उन्हें वरीयता दी जाएगी, लेकिन जिनके पास यह डिग्री नहीं है वे भी इस पद के लिए पात्र माने जाएंगे।
युवाओं में खुशी की लहर
इस बदलाव से उन हजारों युवाओं को राहत मिली है जो कंप्यूटर साइंस जैसे विषयों में डिग्री धारक तो हैं, लेकिन B.Ed न होने के कारण अब तक शिक्षक बनने के अपने सपने से वंचित थे। अब वे भी सरकारी विद्यालयों में शिक्षक बनने के लिए आवेदन कर सकते हैं।
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