खरीदारी का लक्ष्य
रबी मौसम 2025-26 में बिहार सरकार द्वारा गेहूं खरीद का लक्ष्य 2 लाख मीट्रिक टन रखा गया है। इस खरीदारी में 1.5 लाख टन गेहूं पैक्स (प्राथमिक कृषि सेवा सहकारी समितियां) और व्यापार मंडल के माध्यम से की जाएगी, जबकि 50 हजार टन गेहूं भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) से खरीदी जाएगी। सरकार ने इस बार किसानों के लिए गेहूं का मूल्य 2425 रुपये प्रति क्विंटल तय किया है, जो पिछले साल की तुलना में 150 रुपये अधिक है। यह मूल्य किसानों के लिए एक बड़ी राहत लेकर आया है, जो पहले से ही फसल के बाद बाजार में बेहतर दाम की उम्मीद कर रहे थे।
जल्द भुगतान की योजना
इस बार की सबसे बड़ी खासियत यह है कि गेहूं की खरीद के 48 घंटे के अंदर किसानों को राशि का भुगतान किया जाएगा। इससे किसानों को पैसे के लिए लंबा इंतजार नहीं करना पड़ेगा, और वे जल्दी से अपनी अगली खेती या अन्य आवश्यकताओं के लिए भुगतान का इस्तेमाल कर सकेंगे। इससे किसानों के आर्थिक हालात में सुधार आने की उम्मीद है और उन्हें सरकार की योजनाओं पर विश्वास बढ़ेगा।
सहकारी बैंकों द्वारा कैश क्रेडिट
गेहूं की खरीद के लिए सहकारी बैंकों द्वारा 208 करोड़ रुपये का कैश क्रेडिट जारी किया गया है। इस राशि का इस्तेमाल किसानों को गेहूं बेचने के लिए भुगतान करने में किया जाएगा। राज्य के कुल 4476 पैक्स और व्यापार मंडल को इस कार्य के लिए चयनित किया गया है। यह सुनिश्चित करेगा कि खरीदारी प्रक्रिया सही तरीके से चले और किसानों को किसी प्रकार की समस्या का सामना न करना पड़े।
पोर्टल पर आवेदन और किसानों को मिलेगा लाभ
पिछले साल पोर्टल पर आवेदन करने वाले किसानों को इस बार बिना आवेदन किए गेहूं बेचने की अनुमति मिल जाएगी। इसका मतलब है कि जो किसान पिछले वर्ष रजिस्टर हो चुके हैं, उन्हें दोबारा आवेदन देने की आवश्यकता नहीं होगी। यह पहल किसानों के लिए सुविधाजनक साबित होगी, क्योंकि उन्हें बार-बार आवेदन की प्रक्रिया से गुजरने की जरूरत नहीं पड़ेगी। इसके अलावा, इस बार रैयत और गैर रैयत दोनों तरह के किसान गेहूं बेच सकते हैं, और उनके लिए कोई अधिकतम सीमा भी निर्धारित नहीं की गई है, जैसे कि धान के मामले में हुआ करता था।
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