इस योजना के अंतर्गत प्रत्येक ग्राम पंचायत से 25 सबसे गरीब परिवारों का चयन किया जाएगा। चयनित परिवारों को शासन की विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं का समुचित लाभ उपलब्ध कराया जाएगा। इससे उनकी आर्थिक स्थिति मजबूत होगी और वे गरीबी रेखा से ऊपर उठ सकेंगे।
जिलाधिकारी ने की समीक्षा बैठक
उन्नाव के जिलाधिकारी गौरांग राठी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट स्थित पन्नालाल सभागार में योजना की समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में जिलाधिकारी ने सभी विकासखंडों के अधिकारियों को निर्देशित किया कि पात्र परिवारों की पहचान पूरी पारदर्शिता के साथ की जाए। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि योजना का लाभ किसी भी पात्र व्यक्ति से वंचित न रहे।
अधिकारियों को दिए सख्त निर्देश
जिलाधिकारी ने कहा, “प्रत्येक ग्राम पंचायत से 25 ऐसे परिवारों की पहचान की जाए, जो आर्थिक रूप से बेहद कमजोर हैं। उन्हें योजनाओं से इस प्रकार जोड़ा जाए कि उनकी आय में निरंतर वृद्धि हो सके और वे आत्मनिर्भर बनें।” योजना का उद्देश्य अगले एक वर्ष में उत्तर प्रदेश को गरीबी मुक्त बनाना है। इसके लिए सभी जिलों में तेजी से कार्य किया जा रहा है। इस अभियान में जन सहयोग भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
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