यूपी में इन 'नगर निगमों' का होगा सीमा विस्तार!

लखनऊ। उत्तर प्रदेश सरकार राज्य के नगर निगमों को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने के लिए गंभीरता से कार्य कर रही है। इसी कड़ी में अब नगर निगमों की आय को विशेष रूप से विज्ञापन क्षेत्र के माध्यम से बढ़ाने की दिशा में ठोस कदम उठाए जा रहे हैं। नगर विकास विभाग ने एक विस्तृत कार्ययोजना तैयार की है, जिसके तहत आगामी पांच वर्षों में निगमों की विज्ञापन से होने वाली आय को दोगुना करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।

नगर निगमों की सीमा और नए मार्गों का होगा विस्तार

विज्ञापन आय को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार नगर निगमों की सीमा का भी विस्तार करेगी। इसके अंतर्गत नए व्यावसायिक और रिहायशी क्षेत्रों को निगम सीमा में शामिल किया जाएगा, जहां विज्ञापन की मांग अधिक होगी। इसके साथ ही नए मार्गों और गलियारों का निर्माण कर विज्ञापन के और अवसर सृजित किए जाएंगे।

डिजिटल विज्ञापन से होगी आय में बंपर बढ़ोत्तरी

फिलहाल प्रदेश के नगर निगमों की वार्षिक विज्ञापन आय लगभग ₹78.9 करोड़ है। विभागीय आंकड़ों के अनुसार यह आय 2029-30 तक ₹158.7 करोड़ तक पहुंचाई जाएगी। यह वृद्धि चरणबद्ध रूप से होगी। वर्ष 2025-26 तक यह आय ₹90.74 करोड़, 2026-27 में ₹104.35 करोड़ और उसके पश्चात प्रतिवर्ष 10% की दर से बढ़ने की उम्मीद है। इस आय वृद्धि का आधार मुख्यतः डिजिटल विज्ञापन, मोबाइल वैन, बसों, ऑटो, निजी भवनों पर विज्ञापन और अन्य नवाचार होंगे। 

सीएम योगी के निर्देश: पारदर्शी और तकनीक आधारित हो विज्ञापन नीति

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि नई विज्ञापन नीति पूरी तरह से पारदर्शी, तकनीक आधारित और भ्रष्टाचार मुक्त होनी चाहिए। इसका उद्देश्य राजस्व में वृद्धि के साथ-साथ शहर की सुंदरता और पर्यावरण की सुरक्षा भी सुनिश्चित करना है। इसी दिशा में सार्वजनिक स्थलों को विज्ञापन हब के रूप में विकसित करने की योजना भी बनाई जा रही है।

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