क्या है यह योजना?
यह परियोजना केंद्र सरकार की 'वेदर इंफॉर्मेशन नेटवर्क डाटा सिस्टम' (WINDs) योजना के अंतर्गत चलाई जा रही है। इसका उद्देश्य किसानों को मौसम की बारीक जानकारी प्रदान करना है ताकि वे खेती से जुड़े महत्वपूर्ण निर्णय वैज्ञानिक आधार पर ले सकें।
कहां-कहां लगेंगे उपकरण?
उत्तर प्रदेश के सभी 308 ब्लॉक में एक-एक ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन (AWS) लगाया जाएगा। साथ ही, 55,570 ग्राम पंचायतों में वर्षामापी यंत्र (ARG) स्थापित किए जाएंगे। कार्यदायी संस्था Skymet को इस काम के लिए चुना गया है और टेंडर प्रक्रिया भी पूरी हो चुकी है।
किसानों को क्या होगा फायदा?
1 .सटीक मौसम जानकारी: बारिश, ओलावृष्टि, हवा की दिशा और गति, और नमी की सटीक जानकारी किसानों तक समय रहते पहुंचेगी।
2 .एप के जरिए अपडेट: सभी जानकारी एक केंद्रीकृत सर्वर पर जाएगी, जिसे किसान मोबाइल ऐप के जरिए रियल टाइम में देख सकेंगे।
3 .खराब मौसम से बचाव: मौसम की जानकारी पहले से मिलने पर किसान फसलों को ओलावृष्टि और बेमौसम बारिश से बचा सकेंगे।
4 .सिंचाई का सही समय: मिट्टी में नमी की जानकारी मिलने से किसान जान सकेंगे कि कब सिंचाई करनी है, जिससे पानी की भी बचत होगी।
5 .फसल चक्र में सुधार: जलवायु परिवर्तन के दौर में सही जानकारी के आधार पर फसल चक्र का बेहतर प्रबंधन किया जा सकेगा।
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