यूपी में इन लोगों को नहीं मिलेगा वृद्धा पेंशन का लाभ!

लखनऊ – उत्तर प्रदेश सरकार ने वृद्धावस्था पेंशन योजना के तहत पेंशन प्राप्त कर रहे लाभार्थियों का राज्यव्यापी सत्यापन अभियान शुरू कर दिया है। समाज कल्याण विभाग द्वारा शुरू किया गया यह अभियान 25 मई 2025 तक चलेगा, जिसके अंतर्गत 60 वर्ष या उससे अधिक आयु के पेंशनर्स की पात्रता का गहन परीक्षण किया जाएगा। इस समय प्रदेश में लगभग 61 लाख लोग वृद्धा पेंशन का लाभ ले रहे हैं।

किसे मिलेगा लाभ?

इस योजना के तहत वही वृद्धजन पात्र माने जाएंगे: जिनकी उम्र 60 वर्ष या उससे अधिक है। जिनकी वार्षिक आय ग्रामीण क्षेत्रों में ₹46,080 से कम और शहरी क्षेत्रों में ₹56,460 से कम है। सत्यापन की प्रक्रिया ग्रामीण क्षेत्रों में खंड विकास अधिकारियों (BDO) और शहरी क्षेत्रों में उप जिलाधिकारी (SDM) अथवा नगरपालिका के अधिशासी अधिकारी (EO) के माध्यम से की जा रही है।

गलत जानकारी देने वालों पर होगी कार्रवाई

सत्यापन प्रक्रिया की गुणवत्ता बनाए रखने के लिए 10% लाभार्थियों का क्रॉस वेरिफिकेशन किया जाएगा। इसकी जिम्मेदारी मंडलीय उप निदेशकों और जिला समाज कल्याण अधिकारियों को सौंपी गई है। यदि किसी जीवित व्यक्ति को मृतक दिखाकर उसका पेंशन बंद किया गया, तो संबंधित अधिकारी या कर्मचारी के खिलाफ जिलाधिकारी के माध्यम से दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी।

इन लोगों को नहीं मिलेगा वृद्धा पेंशन का लाभ. 

1 .यदि किसी व्यक्ति के पास पर्याप्त संपत्ति, भूमि या अन्य संसाधन हैं, तो उसे इस पेंशन का लाभ नहीं मिलेगा। 

2 .राज्य या केंद्रीय सरकार में काम करने वाले कर्मचारी, जिनकी सेवानिवृत्ति के बाद पेंशन दी जाती है, उन्हें वृद्धा पेंशन का लाभ नहीं मिलेगा।

3 .वृद्धा पेंशन के लिए आवेदन करते समय यदि कोई व्यक्ति गलत जानकारी प्रदान करता है या तथ्यों को छुपाता है, तो उसका आवेदन रद्द कर दिया जाएगा।

4 .वृद्धा पेंशन केवल जीवित व्यक्तियों के लिए है। यदि कोई पेंशनधारी व्यक्ति मृत हो जाता है, तो उसके परिवार को इस पेंशन का लाभ नहीं मिलेगा।

5 .वृद्धा पेंशन योजना का लाभ केवल उन लोगों को दिया जाता है जो एक निश्चित उम्र (सामान्यत: 60 वर्ष या इससे अधिक) पार कर चुके हैं। यदि कोई व्यक्ति इस आयु सीमा से कम है, तो उसे इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।

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