रुद्रम-3 एक हवा से सतह पर मार करने वाली एंटी-रेडिएशन मिसाइल है, जिसे दुश्मन के रडार, कम्युनिकेशन हब और मिसाइल डिफेंस सिस्टम को निशाना बनाने के लिए खासतौर पर डिज़ाइन किया गया है। इसे भारतीय वायु सेना के लिए रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) द्वारा विकसित किया गया है।
प्रमुख विशेषताएं जो रुद्रम-3 को बनाती हैं खास:
1 .हाइपरसोनिक गति: यह मिसाइल मैक 5 से अधिक की रफ्तार से उड़ान भरती है, जिससे दुश्मन के रिएक्शन का समय बेहद कम हो जाता है।
2 .विस्तारित रेंज: 550-600 किलोमीटर की रेंज के साथ रुद्रम-3 दुश्मन की गहराई में मौजूद लक्ष्यों को आसानी से भेद सकती है।
3 .सटीक मार्गदर्शन प्रणाली: इसमें एडवांस्ड होमिंग सिस्टम और इनर्शियल नेविगेशन शामिल है, जिससे यह बेहद सटीकता के साथ टारगेट को हिट कर सकती है।
4 .दो-चरणीय प्रोपल्शन: पहला स्टेज बूस्टर और दूसरा स्टेज डुअल-पल्स मोटर से लैस है, जो लंबी दूरी और उच्च वेग सुनिश्चित करता है।
5 .भारी वारहेड: यह 200 किलोग्राम तक का वारहेड ले जा सकती है, जो इसे बंकरों और मजबूत सैन्य ठिकानों को तबाह करने में सक्षम बनाता है।
6 .Su-30 MKI से लॉन्च: इसे भारतीय वायु सेना के Su-30 MKI फाइटर जेट से लॉन्च किया जा सकता है, जिससे इसकी ऑपरेशनल फ्लेक्सिबिलिटी और बढ़ जाती है।
रणनीतिक उद्देश्य:
रुद्रम-3 का मुख्य उद्देश्य दुश्मन के इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रणाली को अंधा करना है — यानी रडार, संचार केंद्र, और सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलों की आंखें बंद कर देना। यह भारत को स्टैंडऑफ स्ट्राइक कैपेसिटी देता है, जिससे लड़ाकू विमान लक्ष्य के करीब गए बिना ही हमले को अंजाम दे सकते हैं। दरअसल चीन और पाकिस्तान की सैन्य गतिविधियों पर नजर रखने वाले विश्लेषकों ने इस मिसाइल को गेम चेंजर करार दिया है।
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