इन सभी शिक्षकों पर वर्षों से बिना किसी सूचना के स्कूल से गैरहाजिर रहने का आरोप था। विभाग ने इन्हें कई बार नोटिस जारी कर जवाब देने का अवसर भी दिया, लेकिन न तो इन शिक्षकों ने विभाग से कोई संपर्क साधा और न ही अपने पक्ष में कोई जवाब दाखिल किया। आखिरकार, लंबे इंतजार और तमाम औपचारिकताओं के बाद विभाग ने कड़ा रुख अपनाते हुए बर्खास्ती के आदेश जारी कर दिए।
ये हैं बर्खास्त किए गए शिक्षक:
संजीव कुमार सिंह – प्राथमिक विद्यालय डड़ियामऊ द्वितीय, रामनगर ब्लॉक के सहायक अध्यापक। जून 2022 से गायब। मूल निवासी: बलिया।
नीरजा दीक्षित – उच्च प्राथमिक विद्यालय खेली, देवा ब्लॉक की सहायक अध्यापक। 1 दिसंबर 2021 से अनुपस्थित। निवासी: सत्यप्रेमी नगर।
ट्विंकल भाटिया – कम्पोजिट विद्यालय अमरसण्डा, निंदूरा ब्लॉक की सहायक अध्यापक। 12 मार्च 2019 से गायब। निवासी: लखनऊ।
किरन तिवारी – प्राथमिक विद्यालय बिसई, निंदूरा ब्लॉक की सहायक अध्यापक। 2 जनवरी 2018 से लापता। निवासी: लखनऊ।
शमा परवीन – प्राथमिक विद्यालय उदईमऊ, पूरेडलई ब्लॉक की सहायक अध्यापक। 1 जुलाई 2020 से गैरहाजिर। निवासी: अयोध्या।
नेहा त्रिपाठी – उच्च प्राथमिक विद्यालय लाखूपुर, सिद्धौर ब्लॉक की सहायक अध्यापक। 9 अगस्त 2019 से अनुपस्थित। निवासी: लखीमपुर खीरी।
रचना राय – प्राथमिक विद्यालय टिभुईखेड़ा, त्रिवेदीगंज ब्लॉक की सहायक अध्यापक। 19 फरवरी 2022 से लापता। निवासी: रायबरेली।
अनिल कुमार – प्रधानाध्यापक, प्राथमिक विद्यालय वसैगापुर, बनीकोडर ब्लॉक। 28 सितंबर 2019 से स्कूल से नदारद। निवासी: निंदूरा, बाराबंकी।
अब्दुल वहीद – सहायक अध्यापक, प्राथमिक विद्यालय रमपुरवा, फतेहपुर क्षेत्र। 4 जुलाई 2022 से बिना सूचना के गायब। निवासी: मिर्दहनपुरवा, दरियाबाद।
गौरव प्रकाश वर्मा – प्रधानाचार्य, प्राथमिक विद्यालय दुराजपुर, हरख ब्लॉक। 5 जुलाई 2019 से अनुपस्थित। बिना किसी अनुमति के गायब।
विभाग ने दिखाई सख्ती, औरों के लिए भी चेतावनी
बेसिक शिक्षा अधिकारी ने स्पष्ट किया कि शिक्षा की गुणवत्ता से किसी तरह का समझौता नहीं किया जाएगा। लंबे समय से अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों को अब माफ नहीं किया जाएगा। विभाग ने संकेत दिया है कि तीन अन्य शिक्षकों पर भी जल्द कार्रवाई की जा सकती है। इस सख्त कार्रवाई के बाद शिक्षा विभाग में हड़कंप मचा हुआ है।

0 comments:
Post a Comment