भारत बना रहा 3 नए 'ब्रह्मास्त्र': दुश्मनों की उड़ी नींद

नई दिल्ली। भारत रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की ओर बड़ी छलांग लगाते हुए तीन अत्याधुनिक हथियार प्रणालियों पर कार्य कर रहा है, जिन्हें आने वाले वर्षों में देश की सैन्य ताकत को कई गुना बढ़ाने वाला माना जा रहा है। ये तीन ब्रह्मास्त्र हैं – AMCA फाइटर जेट, BrahMos-NG (नेक्स्ट जेनरेशन मिसाइल) और हाइपरसोनिक हथियार प्रणाली। इन आधुनिक प्रणालियों का विकास भारत को वैश्विक रक्षा तकनीकों की अग्रिम पंक्ति में खड़ा कर देगा।

1. AMCA: भारत का पांचवीं पीढ़ी का लड़ाकू विमान

भारत स्वदेशी तकनीक से अपना पहला स्टील्थ फाइटर जेट AMCA (Advanced Medium Combat Aircraft) विकसित कर रहा है। यह विमान पांचवीं पीढ़ी की तकनीकों से लैस होगा, जिसमें अत्याधुनिक स्टील्थ फीचर्स, एआई-बेस्ड मिशन सिस्टम, पावरफुल इंजन और उन्नत हथियार प्रणाली शामिल है। यह फाइटर जेट चीन और पाकिस्तान के साझा खतरों का जवाब देने में सक्षम होगा, विशेष रूप से चीन के J-35 जैसे स्टील्थ विमानों के मुकाबले।

2. BrahMos-NG: ब्रह्मोस का अगला और घातक संस्करण

भारत-रूस संयुक्त परियोजना ब्रह्मोस पहले से ही दुनिया की सबसे तेज़ सुपरसोनिक क्रूज मिसाइलों में गिनी जाती है। अब इसका नया संस्करण BrahMos-NG (Next Generation) तैयार किया जा रहा है, जो हल्की, छोटी लेकिन कहीं अधिक प्रभावी होगी। इसकी मारक क्षमता और रेंज पहले से अधिक होगी, जबकि वजन कम होने के कारण इसे तेजस जैसे हल्के लड़ाकू विमानों में भी तैनात किया जा सकेगा।

3. हाइपरसोनिक हथियार प्रणाली: भविष्य की युद्ध तकनीक

दुनिया की बड़ी सैन्य शक्तियाँ हाइपरसोनिक हथियारों पर तेजी से काम कर रही हैं, और भारत भी इस दौड़ में पीछे नहीं है। हाइपरसोनिक ग्लाइड व्हीकल (HGV) और स्क्रैमजेट इंजन आधारित क्रूज मिसाइलों पर भारतीय वैज्ञानिक लगातार काम कर रहे हैं।

स्क्रैमजेट सिस्टम की 1000 सेकंड तक सफल परीक्षण हो चुका है, जो इस क्षेत्र में भारत की तकनीकी प्रगति को दर्शाता है। हाइपरसोनिक ग्लाइड व्हीकल का परीक्षण अगले 2-3 वर्षों में पूरा होने की उम्मीद है। ये हथियार दुश्मन की रडार प्रणाली को चकमा देकर कहीं अधिक तेजी और सटीकता से प्रहार कर सकते हैं।

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