यूपी में राशनकार्ड धारकों के लिए नई प्रणाली लागू

लखनऊ – उत्तर प्रदेश में राशन वितरण प्रणाली को पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त बनाने के लिए योगी आदित्यनाथ सरकार ने एक बड़ा कदम उठाया है। राज्य सरकार ने अब राशन कार्डधारकों के लिए ई-केवाईसी और आधार सत्यापन प्रणाली को अनिवार्य कर दिया है, जिससे राशन वितरण में किसी भी प्रकार के फर्जीवाड़े की संभावना लगभग खत्म हो गई है।

ई-केवाईसी-आधार सत्यापन प्रणाली लागू

नवीन तकनीकी प्रणाली के अंतर्गत लाभार्थी अब देश के किसी भी उचित दर दुकान (FPS) पर जाकर ई-केवाईसी करा सकते हैं। इस सुविधा ने राशनकार्ड धारकों को अधिक सुविधा और लचीलापन प्रदान किया है। वहीं, राशन वितरण के लिए ई-पॉस (e-POS) मशीनों का उपयोग राज्य भर में अनिवार्य कर दिया गया है। इन मशीनों की मदद से अब राशन सीधे वास्तविक लाभार्थियों तक पहुंच रहा है, जिससे पारदर्शिता को एक नई ऊंचाई मिली है।

पात्र लाभार्थियों को मिल रहा मुफ्त राशन

सरकार की ओर से पात्र कार्डधारकों को प्रति यूनिट के हिसाब से 5 किलो राशन मुफ्त में प्रदान किया जा रहा है। इसमें पात्र गृहस्थी कार्डधारकों को 2 किलो गेहूं और 3 किलो चावल, जबकि अंत्योदय कार्डधारकों को 14 किलो गेहूं और 21 किलो चावल यानी कुल 35 किलो राशन एकमुश्त मिल रहा है।

सरकार की मंशा स्पष्ट – “हर जरूरतमंद को अन्न”

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि, “राज्य सरकार की यह प्राथमिकता है कि कोई भी गरीब भूखा न सोए। इस दिशा में तकनीक के माध्यम से हम राशन वितरण व्यवस्था को और अधिक पारदर्शी व जवाबदेह बना रहे हैं।” इस नई प्रणाली के क्रियान्वयन से जहां एक ओर भ्रष्टाचार और बिचौलियों की भूमिका खत्म हो रही है, वहीं दूसरी ओर जरूरतमंदों तक समय पर और पर्याप्त राशन पहुंचाना भी संभव हो रहा है।

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