बिहार में जमीन पर हक के लिए जरूरी कागजात

पटना। बिहार में जमीन की खरीद-बिक्री और मालिकाना हक़ की पुष्टि के लिए कुछ खास दस्तावेज़ होना बेहद जरूरी होता है। इन दस्तावेजों के बिना जमीन का सही मालिकाना हक़ साबित करना मुश्किल हो सकता है, जिससे भविष्य में विवाद की संभावना बढ़ जाती है। इसलिए, जमीन खरीदते या बेचते वक्त सावधानी बरतनी चाहिए और सभी जरूरी कागजातों की जांच पूरी तरह कर लेनी चाहिए।

1. रजिस्ट्री का कागज़ 

यह सबसे अहम दस्तावेज़ होता है जो जमीन की खरीद-बिक्री को कानूनी रूप से साबित करता है। रजिस्ट्री में जमीन का विवरण, खरीदार और विक्रेता के नाम, और ट्रांजैक्शन की जानकारी होती है। इसे स्थानीय रजिस्ट्रार कार्यालय में दर्ज कराना जरूरी होता है।

2.खतियान

खतियान जमीन के मालिकाना हक़ का रिकॉर्ड होती है जिसमें जमीन का माप, खाता नंबर, मालिक का नाम और जमीन की स्थिति का विवरण होता है।

3. दाखिल-खारिज

आपको बता दें की बिहार में 'जमीन म्यूटेशन' (भूमि दाखिल-खारिज) का अर्थ है किसी जमीन का मालिक बदलने पर सरकारी रिकॉर्ड में उस व्यक्ति का नाम दर्ज कराना। यह प्रक्रिया सरकारी रिकॉर्ड में आपकी स्वामित्व को प्रमाणित करती है

4. कर रसीद

जमीन पर पिछले वर्षों के सभी करों का भुगतान होना भी आवश्यक है। कर रसीद यह साबित करती है कि जमीन के मालिक ने नियमित रूप से जमीन का टैक्स जमा किया है और जमीन पर कोई बकाया नहीं है। बिहार में सभी जमीन मालिकों को इसकी जानकारी होनी चाहिए।

0 comments:

Post a Comment