तेजस से आगे, तेजस मार्क-2
तेजस मार्क-2, मौजूदा तेजस फाइटर जेट का अपग्रेडेड संस्करण है। इसे "मीडियम वेट फाइटर" श्रेणी में रखा गया है। जहां तेजस एक हल्का लड़ाकू विमान था, वहीं तेजस मार्क-2 आकार, ताकत और तकनीक तीनों में कहीं ज्यादा उन्नत है। इस फाइटर जेट की लंबाई लगभग 14.6 मीटर होगी और इसमें GE F414 इंजन लगाया जाएगा, जो इसे 98 किलो न्यूटन तक का थ्रस्ट देगा। इसका मतलब है कि विमान न केवल तेज़ उड़ेगा, बल्कि अधिक हथियार भी ले जा सकेगा।
इसमें आधुनिक AESA रडार, सेंसर फ्यूज़न तकनीक, और डिजिटल कॉकपिट जैसे फीचर्स होंगे जो इसे भविष्य की लड़ाइयों के लिए पूरी तरह तैयार बनाएंगे। तेजस मार्क-2 को पुराने हो चुके मिराज-2000, मिग-29 और जगुआर जैसे विमानों की जगह लेने के लिए तैयार किया जा रहा है। रक्षा मंत्रालय ने इसके विकास को मंज़ूरी दे दी है और उम्मीद की जा रही है कि इसकी पहली उड़ान 2027 तक होगी।
AMCA: भारत का पहला स्टील्थ फाइटर
दूसरा विमान है AMCA, Advanced Medium Combat Aircraft, जो भारत का पहला स्टील्थ लड़ाकू विमान होगा। यह पांचवीं पीढ़ी का मल्टी-रोल फाइटर जेट होगा, जिसमें रडार से छिपने की विशेष क्षमता (stealth), सुपरसोनिक क्रूज़ और इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर जैसी आधुनिक क्षमताएं होंगी।
AMCA पूरी तरह से स्वदेशी डिज़ाइन और तकनीक पर आधारित होगा। इसका निर्माण दो चरणों में होगा: पहले चरण में विदेशी इंजन का इस्तेमाल किया जाएगा और दूसरे चरण में भारत खुद का इंजन विकसित करेगा। इसे DRDO और एयरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (ADA) ने मिलकर डिज़ाइन किया है, और इसका निर्माण HAL के साथ मिलकर किया जाएगा।
इस फाइटर जेट का रणनीतिक महत्व
भारत के लिए ये दोनों विमान सिर्फ तकनीकी प्रगति नहीं हैं, बल्कि रणनीतिक संतुलन के लिहाज से भी अहम हैं। पड़ोसी देश चीन पहले से ही स्टेल्थ फाइटर J-20 को विकसित कर चुका है, और पाकिस्तान चीन से लड़ाकू विमान प्राप्त कर रहा है। ऐसे में तेजस मार्क-2 और AMCA भारतीय वायुसेना को तकनीकी रूप से कहीं अधिक सक्षम और प्रतिस्पर्धी बनाएंगे।
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