क्या है बाल वाटिका योजना?
बाल वाटिकाएं एक प्रकार की पूर्व-प्राथमिक शिक्षा केंद्र होंगी, जो प्री-नर्सरी के तर्ज पर काम करेंगी। यहां छोटे बच्चों को खेल-खेल में सीखने का अवसर मिलेगा, ताकि वे औपचारिक शिक्षा से पहले शिक्षण माहौल से परिचित हो सकें। यह पहल 15 अगस्त यानी स्वतंत्रता दिवस से लागू की जा रही है, जिससे इसका प्रतीकात्मक और व्यावहारिक महत्व दोनों स्थापित होता है।
बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा पूरे प्रदेश में 5,118 सरकारी स्कूलों में बाल वाटिकाएं शुरू करने की योजना बनाई गई है। इनका संचालन महिला एवं बाल विकास विभाग के सहयोग से किया जाएगा, और इसके लिए नजदीकी आंगनबाड़ी केंद्रों को इन स्कूलों में स्थानांतरित किया जाएगा। इससे संसाधनों का बेहतर उपयोग सुनिश्चित होगा।
क्यों जरूरी हैं बाल वाटिकाएं?
दुनियाभर के कई शोधों से यह सिद्ध हुआ है कि बच्चों का प्रारंभिक विकास जीवन भर के सीखने की नींव रखता है। यदि एक बच्चा कक्षा एक में प्रवेश से पहले सामाजिक व्यवहार, भाषा, सोचने की क्षमता, और मोटर स्किल्स में दक्ष हो जाता है, तो उसकी सीखने की क्षमता कई गुना बढ़ जाती है। बाल वाटिकाएं इसी तैयारी को सुनिश्चित करेंगी।
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