फिलहाल पेंशन की गणना 2.57 के मौजूदा फिटमेंट फैक्टर के आधार पर होती है। लेकिन नए वेतन आयोग के तहत फिटमेंट फैक्टर को 1.92 या 2.28 करने की अटकलें हैं। इससे पेंशन की गणना का तरीका पूरी तरह बदल सकता है और पेंशन में 50% से लेकर 100% तक की वृद्धि संभव है।
2000 रुपये ग्रेड पे वाले पेंशनर्स को कितना फायदा?
जो कर्मचारी 2000 रुपये ग्रेड पे पर रिटायर हुए थे, उनकी मौजूदा पेंशन औसतन 13,000 रुपये के आसपास है। यदि फिटमेंट फैक्टर 1.92 होता है, तो उनकी पेंशन लगभग 24,960 रुपये तक जा सकती है। वहीं, अगर फैक्टर 2.28 तय होता है, तो पेंशन बढ़कर 27,040 रुपये तक पहुंच सकती है। यह बढ़ोतरी न सिर्फ महंगाई के मुकाबले राहत देगी, बल्कि बुजुर्ग पेंशनर्स की जीवनशैली में भी बड़ा सुधार ला सकती है।
2800 रुपये ग्रेड पे पर रिटायर कर्मचारियों की स्थिति?
इस श्रेणी में आने वाले पेंशनर्स फिलहाल 15,700 रुपये की मासिक पेंशन पा रहे हैं। 1.92 फिटमेंट फैक्टर पर पेंशन बढ़कर 30,140 रुपये हो सकती है। जबकि 2.28 फैक्टर लागू होने पर यह रकम बढ़कर 32,656 रुपये तक जा सकती है। इसके अलावा लेवल 5 वाले पेंशनर्स की न्यूनतम पेंशन भी संभावित रूप से 39,000 से अधिक जा सकती है, जो जीवनयापन के स्तर को और बेहतर बनाएगा।
4200 रुपये ग्रेड पे वाले पेंशनर्स को कितनी राहत?
लेवल 6 के अंतर्गत आने वाले इन पेंशनर्स की मौजूदा पेंशन लगभग 28,450 रुपये है। यदि नया फिटमेंट फैक्टर 1.92 लागू होता है, तो पेंशन बढ़कर 54,624 रुपये हो सकती है। 2.28 फैक्टर लागू होने पर यह बढ़कर 59,176 रुपये तक पहुंच सकती है। यह बढ़ोतरी स्पष्ट रूप से दर्शाती है कि 8वें वेतन आयोग का असर सबसे ज्यादा मिड-लेवल पेंशनर्स पर पड़ेगा।
क्यों जरूरी है नया फिटमेंट फैक्टर?
मौजूदा समय में महंगाई दर लगातार बढ़ रही है। पेंशनर्स को चिकित्सा, किराया, और दैनिक खर्चों में राहत देने के लिए फिटमेंट फैक्टर का संशोधन बेहद जरूरी हो गया है। सरकार अगर इसे लागू करती है, तो यह सिर्फ आर्थिक राहत नहीं बल्कि सामाजिक सुरक्षा की दिशा में भी एक मजबूत कदम होगा।
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