यूपी पंचायत चुनाव: पुरानी नियमावली से कराने की तैयारी

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में अगले साल प्रस्तावित पंचायत चुनाव को लेकर सरकार ने अहम फैसला लिया है। अब ये चुनाव पुरानी नियमावली के आधार पर ही कराए जाएंगे। यह जानकारी पंचायतीराज मंत्री ओमप्रकाश राजभर ने शनिवार को दी। राजधानी लखनऊ स्थित पंचायतीराज निदेशालय में विभागीय कार्यों की समीक्षा बैठक के बाद उन्होंने पत्रकारों से बातचीत में यह बात कही।

राजभर ने बताया कि वर्ष 2011 की सामाजिक-आर्थिक जनगणना को आधार मानते हुए आरक्षण की व्यवस्था की जाएगी। चूंकि जातिवार जनगणना फिलहाल शुरू नहीं हुई है और पंचायत चुनाव मार्च 2026 तक कराए जाने हैं, ऐसे में नई जनगणना के आंकड़ों पर आरक्षण तय करना संभव नहीं है। इसलिए सरकार ने चुनाव को पूर्ववर्ती व्यवस्था के तहत ही कराने की तैयारी कर ली है।

महिलाओं को 33% आरक्षण देने का प्रयास

पंचायतीराज मंत्री ने यह भी कहा कि सरकार पंचायतों में सभी वर्गों की महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण दिलाने की दिशा में काम कर रही है। उनका कहना था कि आरक्षण चक्रानुक्रम पद्धति के अनुसार लागू होगा, जिससे अलग-अलग सीटों पर आरक्षण की स्थिति बदलेगी। इससे विभिन्न वर्गों को प्रतिनिधित्व का समान अवसर मिलेगा।

प्रशासनिक सुधारों पर जोर

राजभर ने पंचायत व्यवस्था में पारदर्शिता और कार्यकुशलता लाने के लिए कई प्रशासनिक कदमों की भी घोषणा की। उन्होंने बताया कि अब गांवों में तैनात सफाई कर्मियों और पंचायत सहायकों की उपस्थिति आधार (Aadhaar) आधारित प्रणाली से दर्ज की जाएगी। इससे फर्जी हाजिरी पर रोक लगेगी और काम की निगरानी बेहतर तरीके से हो सकेगी।

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