स्वदेशी शक्ति का प्रतीक है पिनाका
पिनाका एक पूर्णतः स्वदेशी रॉकेट लॉन्चर प्रणाली है, जिसे रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) ने विकसित किया है। इसे भारत में ही डिजाइन और निर्मित किया गया है, जिससे यह ‘मेक इन इंडिया’ अभियान की बड़ी सफलता मानी जा रही है। यह प्रणाली एक साथ कई रॉकेट दागने में सक्षम है, जिससे शत्रु के बड़े इलाके को एक ही झटके में नष्ट किया जा सकता है।
पिनाका मार्क-2 की खूबियां
पिनाका प्रणाली का मार्क-2 ईआर (एक्सटेंडेड रेंज) संस्करण अब पहले से कहीं अधिक घातक और एडवांस हो गया है। इसमें पहले की तुलना में कई तकनीकी सुधार किए गए हैं:
1 .रेंज: मार्क-1 की अधिकतम सीमा जहां 45 किलोमीटर थी, वहीं मार्क-2 की रेंज 90 किलोमीटर से भी अधिक है।
2 .फायरिंग क्षमता: इसके एक लॉन्चर से सिर्फ 44 सेकंड में 12 रॉकेट दागे जा सकते हैं।
3 .सटीकता: आधुनिक नेविगेशन और फायर कंट्रोल सिस्टम से लैस, जिससे रॉकेट सटीकता से अपने लक्ष्य को भेदते हैं।
4 .फुर्ती और गतिशीलता: यह प्रणाली ट्रकों पर लगाई जाती है, जिससे इसे किसी भी इलाके में तेजी से तैनात किया जा सकता है।
क्यों घबराए हैं चीन और पाकिस्तान?
पिनाका मार्क-2 की तैनाती ने सीमा पर रणनीतिक संतुलन को भारत के पक्ष में झुका दिया है। खासकर एलओसी (पाकिस्तान सीमा) और एलएसी (चीन सीमा) पर जहां अक्सर तनाव बना रहता है, वहां इस रॉकेट सिस्टम की उपस्थिति ने दोनों देशों को सोचने पर मजबूर कर दिया है।
इस प्रणाली की सबसे बड़ी ताकत यह है कि यह सीमावर्ती इलाकों में बिना किसी पूर्व सूचना के तेज और भारी हमला कर सकती है। शत्रु की सेना, बंकर, हथियार डिपो या लॉजिस्टिक्स हब – कुछ भी इसके निशाने पर आने के बाद बच नहीं सकता।
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