विदेश में रोजगार: अब सपना नहीं, हकीकत
यूपी सरकार के प्रमुख सचिव श्रम एवं सेवायोजन डॉ. एमकेएस सुंदरम ने जानकारी दी है कि इन देशों में कार्यरत युवाओं को हर महीने लगभग दो लाख रुपये तक की सैलरी दी जाएगी। इसके साथ ही रहने के लिए मकान और मुफ्त भोजन की सुविधा भी मिलेगी। कार्य के घंटे भी सीमित होंगे, यानी रोजाना 5 से 8 घंटे की नौकरी होगी, जो संतुलित जीवनशैली की ओर इशारा करता है।
ऑनलाइन पोर्टल से होगी भर्ती प्रक्रिया
श्रम विभाग एक ऑनलाइन पोर्टल भी लॉन्च करने जा रहा है, जिसके जरिए विदेश में नौकरी की इच्छुक युवा पीढ़ी अपना पंजीकरण कर सकेगी। इस पोर्टल पर न केवल उपलब्ध नौकरियों की जानकारी मिलेगी, बल्कि देशवार मांग और आवश्यक योग्यता की भी डिटेल्स होंगी। इससे नियोक्ता भी सीधे उपयुक्त उम्मीदवारों तक पहुंच सकेंगे।
खाड़ी देशों में भी बना हुआ है मांग का दबाव
जापान, जर्मनी और इजरायल के साथ-साथ खाड़ी देशों से भी कुशल श्रमिकों की मांग लगातार बनी हुई है। खासकर कंस्ट्रक्शन, प्लंबिंग, इलेक्ट्रिशियन और ड्राइविंग जैसे ट्रेड्स में कुशल श्रमिकों को प्राथमिकता दी जा रही है। इसके लिए यूपी के युवाओं को समय रहते जरूरी ट्रेनिंग दिलाकर तैयार किया जा रहा है।
युवाओं को मिलेगी ट्रेनिंग, ताकि वे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हों तैयार
यूपी सरकार ने यह तय किया है कि विदेश में नौकरी के इच्छुक युवाओं को विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसके लिए एक नया ट्रेनिंग मॉड्यूल तैयार किया गया है जिसमें युवाओं को प्रोफेशनल तौर पर तैयार किया जाएगा। इस प्रशिक्षण में न केवल तकनीकी कौशल पर ध्यान दिया जाएगा, बल्कि भाषा, शिष्टाचार और कामकाजी संस्कृति पर भी विशेष फोकस रहेगा ताकि युवा किसी भी देश में आसानी से ढल सकें।
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