रूस: 'शैतान' मिसाइल से दुनिया में नंबर 1
रूस की RS-28 Sarmat मिसाइल, जिसे Satan II भी कहा जाता है, दुनिया की सबसे घातक बैलेस्टिक मिसाइल मानी जाती है। इसकी रेंज करीब 18,000 किलोमीटर है और यह एक साथ कई परमाणु वॉरहेड ले जाने में सक्षम है। रूस की यह मिसाइल अमेरिका की मिसाइल डिफेंस को भी चकमा देने में सक्षम बताई जाती है।
अमेरिका: परमाणु हमले की तेज़ क्षमता
अमेरिका के पास Minuteman III इंटरकॉन्टिनेंटल बैलेस्टिक मिसाइल (ICBM) है, जिसकी रेंज लगभग 13,000 किलोमीटर है। यह मिसाइल भी MIRV (Multiple Independently Targetable Reentry Vehicle) तकनीक से लैस है। अमेरिका अब अगली पीढ़ी की Sentinel ICBM प्रणाली पर भी काम कर रहा है।
चीन: एशिया की बड़ी ताकत
चीन की DF-41 बैलेस्टिक मिसाइल भी 12,000 से 15,000 किलोमीटर की मारक क्षमता के साथ अमेरिका तक पहुंचने में सक्षम है। चीन ने हाल के वर्षों में अपनी मिसाइल प्रणाली में तेजी से आधुनिकता लाई है और हाइपरसोनिक टेक्नोलॉजी पर भी काम कर रहा है।
भारत: आत्मनिर्भर मिसाइल शक्ति
भारत ने भी Agni-V जैसी इंटरकॉन्टिनेंटल बैलेस्टिक मिसाइल विकसित कर ली है, जिसकी अनुमानित रेंज 5,000 से 8,000 किलोमीटर है। यह मिसाइल परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम है और चीन समेत एशिया के कई हिस्सों को कवर कर सकती है। भारत अब Agni-VI के विकास में जुटा है, जिसकी रेंज 10,000 किलोमीटर से अधिक हो सकती है।
यूरोपीय ताकतें भी पीछे नहीं
ब्रिटेन और फ्रांस जैसे देश भी समुद्र से दागी जाने वाली बैलेस्टिक मिसाइलें (SLBM) विकसित कर चुके हैं। फ्रांस की M51 और ब्रिटेन की Trident II D5 मिसाइलें पनडुब्बियों से दागी जाती हैं और रणनीतिक संतुलन बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। इसकी रेंज 10000 से 12000 किमी तक हैं।
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