8वें वेतन आयोग: कर्मचारियों के लिए 1 जनवरी से होंगे लागू?

नई दिल्ली। केंद्र सरकार द्वारा 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission) को लेकर अब तक कोई औपचारिक अधिसूचना या सदस्यों की घोषणा नहीं की गई है, लेकिन विभिन्न मंचों और बैठकों में इस पर लगातार मंथन चल रहा है। 34वीं SCOVA बैठक में हुए विचार-विमर्श के बाद यह स्पष्ट है कि 8वां वेतन आयोग न केवल वेतन बल्कि भत्तों और पेंशन से जुड़ी संरचना में भी महत्वपूर्ण बदलाव लेकर आएगा। ऐसे में करोड़ों केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स को इससे बड़ी उम्मीदें हैं।

8वें वेतन आयोग की संभावित लागू तिथि

आपको बता दें की 8वें वेतन आयोग के लागू होने की संभावित तिथि 1 जनवरी 2026 मानी जा रही है। यह तिथि पिछली परंपराओं और वर्तमान चर्चाओं के आधार पर तय की जा रही है, हालांकि सरकार की ओर से इसकी पुष्टि अभी बाकी है। लेकिन उम्मीद की जा रही हैं की 8वें वेतन आयोग 1 जनवरी 2026 से लागू हो जाएगी।

प्रमुख प्रस्ताव और बदलाव

1. फिटमेंट फैक्टर में बढ़ोतरी

पिछले 7वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.57 था, जिससे न्यूनतम वेतन ₹18,000 तय हुआ था। अब अटकलें हैं कि यह 2.8 से बढ़ाकर 3.0 गुना किया जा सकता है। यदि ऐसा होता है, तो न्यूनतम वेतन ₹26,000-₹27,000 तक जा सकता है। इसके साथ ही न्यूनतम पेंशन भी ₹9,000 से बढ़कर ₹25,000 तक पहुंच सकती है।

2. फिक्स मेडिकल अलाउंस (FMA) में बढ़ोतरी

SCOVA की 34वीं बैठक में FMA को ₹1,000 से बढ़ाकर ₹3,000 प्रति माह करने का प्रस्ताव पारित हुआ। वर्तमान FMA मौजूदा समय में बढ़ती चिकित्सा महंगाई को देखते हुए अपर्याप्त है। यह प्रस्ताव 8वें वेतन आयोग की ToR (Terms of Reference) में शामिल किए जाने की सिफारिश के साथ आया है, जिससे इसकी स्वीकृति की संभावना अधिक हो जाती है।

3. महंगाई भत्ता (DA) का विलय होने की उम्मीद

सरकार DA को मूल वेतन में मर्ज करने पर विचार कर रही है। इससे कर्मचारियों के वेतन की संरचना अधिक स्थिर और स्पष्ट होगी, हालांकि DA में भविष्य की बढ़ोतरी सीमित हो सकती है।

4. एचआरए, टीए और अन्य भत्तों में बदलाव की संभावना

HRA (हाउस रेंट अलाउंस) की नई दरों पर काम किया जा रहा है। मेट्रो शहरों में यह दर अधिक हो सकती है। TA (यात्रा भत्ता) की गणना अब शहरी, अर्ध-शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों के आधार पर अलग-अलग की जा सकती है। पुराने और अप्रासंगिक भत्तों को समाप्त करने की योजना है जिससे प्रणाली अधिक पारदर्शी और सरल बनेगी।

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