मौसम विभाग ने 60 से अधिक जिलों में गरज-चमक और वज्रपात की संभावना जताई है। इनमें प्रदेश के तराई क्षेत्र से लेकर मध्य और दक्षिणी हिस्से भी शामिल हैं। विशेष रूप से बांदा, चित्रकूट, प्रयागराज, वाराणसी, लखनऊ, कानपुर, मेरठ, आगरा जैसे जिलों में वज्रपात के साथ तेज बारिश होने की संभावना है। विभाग ने इस दौरान लोगों को खासतौर पर सावधानी बरतने की चेतावनी दी है। खुले मैदान, खेत और ऊंचे पेड़ वज्रपात के दौरान अत्यंत जोखिम भरे स्थान होते हैं, जहां जाने से बचना चाहिए।
आगामी दिनों का मौसम पूर्वानुमान
लखनऊ स्थित आंचलिक मौसम विज्ञान केंद्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक के अनुसार, मंगलवार से अगले तीन-चार दिनों तक प्रदेश के तराई क्षेत्रों में तेज बारिश होगी। इसके बाद 16 जुलाई से मानसून की सक्रियता दक्षिणी और विंध्य क्षेत्र तक बढ़ेगी, जिससे वहां भी भारी बारिश की उम्मीद है। इस अवधि में प्रदेश के कई हिस्सों में बादलों की आवाजाही और रुक-रुककर हल्की फुहारें जारी रहेंगी।
उत्तर प्रदेश के किस जिले में होगी बारिश-वज्रपात।
संभल, बदायूं, जालौन, हमीरपुर, महोबा, झांसी और ललितपुर।
बांदा, चित्रकूट, कौशांबी, प्रयागराज, फतेहपुर, प्रतापगढ़, सोनभद्र,
मिर्जापुर, चंदौली, वाराणसी, भदोही, जौनपुर, गाजीपुर, आजमगढ़,
मऊ, बलिया, देवरिया, हरदोई, फर्रुखाबाद, कन्नौज, कानपुर देहात,
इटावा, औरैया, बिजनौर, अमरोहा, मुरादाबाद, रामपुर, बरेली, शाहजहांपुर,
कानपुर नगर, उन्नाव, लखनऊ, रायबरेली, अमेठी, सुल्तानपुर, अंबेडकर नगर,
बुलंदशहर, अलीगढ़, मथुरा, हाथरस, कासगंज, एटा, आगरा, फिरोजाबाद, मैनपुरी,
सहारनपुर, शामली, मुजफ्फरनगर, बागपत, मेरठ, गाजियाबाद, हापुड़, गौतम बुद्ध नगर,
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