8वें वेतन आयोग: लेवल-1, 2 और 3 की नई सैलरी क्या होगी?

नई दिल्ली। केंद्र सरकार के लगभग 50 लाख कर्मचारियों और 65 लाख पेंशनधारकों को लंबे समय से 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission) की घोषणा का इंतजार है। मौजूदा 7वां वेतन आयोग 31 दिसंबर 2025 को समाप्त हो जाएगा और संभावना है कि 8वां वेतन आयोग 1 जनवरी 2026 से लागू किया जाएगा। इससे न सिर्फ नौकरीपेशा केंद्रीय कर्मचारियों की आमदनी में बढ़ोतरी होगी, बल्कि लाखों पेंशनर्स को भी राहत मिल सकती है।

वेतन आयोग का उद्देश्य

सरकार हर 10 वर्षों में एक नया वेतन आयोग गठित करती है, जिसका उद्देश्य बदलते आर्थिक हालात और महंगाई को ध्यान में रखते हुए सरकारी कर्मचारियों की सैलरी, भत्ते और पेंशन में सुधार करना होता है। यह आयोग यह सुनिश्चित करता है कि कर्मचारियों की आय जीवन-स्तर के अनुकूल हो।

फिटमेंट फैक्टर और इसका क्या असर?

फिटमेंट फैक्टर दरअसल एक ऐसा गुणक (Multiplier) होता है, जिससे पुराने मूल वेतन (Basic Pay) को गुणा करके नई सैलरी तय की जाती है। 7वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.57 था, जबकि 8वें वेतन आयोग में इसे बढ़ाकर 2.86 तक किए जाने की संभावना है।

यदि फिटमेंट फैक्टर 2.86 तय होता है तो सैलरी में भारी उछाल देखा जा सकता है। उदाहरण के तौर पर: वर्तमान न्यूनतम मूल वेतन: ₹18,000, संभावित नई सैलरी (2.86 के गुणक से): ₹18,000 × 2.86 = ₹51,480 हो सकता हैं। हालांकि अभी तक सरकार की ओर से घोषणा नहीं हुई हैं। 

लेवल-1, 2 और 3 की संभावित नई सैलरी (2.86 फिटमेंट फैक्टर के आधार पर) 

लेवल 1 (चपरासी, अटेंडर): वर्तमान मूल वेतन ₹18,000 → संभावित नया वेतन ₹51,480

लेवल 2 (लोअर डिविजन क्लर्क): वर्तमान मूल वेतन ₹19,900 → संभावित नया वेतन ₹56,914

लेवल 3 (कॉन्स्टेबल, स्किल्ड स्टाफ): वर्तमान मूल वेतन ₹21,700 → संभावित नया वेतन ₹62,062

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