SCR योजना का स्वरूप: दिल्ली-NCR की राह पर लखनऊ
शुक्रवार को लखनऊ विकास प्राधिकरण (LDA) के पारिजात सभागार में आयोजित बैठक में SCR योजना की रूपरेखा प्रस्तुत की गई। इस हाई-लेवल मीटिंग की अध्यक्षता केशव वर्मा ने की। इसमें प्रमुख सचिव आवास व शहरी नियोजन पी. गुरूप्रसाद, नगर विकास सचिव अमृत अभिजात, मंडलायुक्त डॉ. रोशन जैकब, शहरी योजनाकार, वर्ल्ड बैंक टीम व अन्य अधिकारियों ने भाग लिया।
71 करोड़ की लागत, 1 साल में तैयार होगा प्लान
SCR योजना के लिए AECom India Pvt. Ltd. और Aegis India Consulting Engineers Pvt. Ltd. के कंसोर्टियम को कंसल्टेंट के रूप में चुना गया है। इन कंपनियों को 71 करोड़ रुपये की लागत से GIS आधारित क्षेत्रीय महायोजना (Regional Master Plan) तैयार करने का जिम्मा सौंपा गया है। 1 साल में रीजनल प्लान तैयार किया जाएगा और अगले 5 वर्षों में डीपीआर, परियोजना चिन्हांकन और स्थल क्रियान्वयन का कार्य किया जाएगा।
वर्ल्ड बैंक का सहयोग – ग्लोबल विजन
बैठक में मौजूद वर्ल्ड बैंक की टीम ने बताया कि SCR योजना में उनकी सक्रिय भागीदारी रहेगी। विश्व बैंक की विशेषज्ञता का लाभ लेते हुए SCR को अंतरराष्ट्रीय मानकों पर विकसित किया जाएगा। योजना में सांस्कृतिक धरोहर, स्थानीय परंपरा और हेरिटेज स्थलों को संरक्षित करते हुए विकास कार्य होंगे।
कनेक्टिविटी से विकास की रफ्तार
SCR योजना के तहत 26,700 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में आधारभूत संरचना को नया आयाम मिलेगा: हाई स्पीड कनेक्टिविटी, रैपिड रेल, रिंग रोड, एक्सप्रेसवे, मिसिंग रोड नेटवर्क का समावेश। इन उपायों से आवागमन तेज और सरल होगा, जिससे औद्योगिक और व्यापारिक गतिविधियों को गति मिलेगी।
गांवों तक पहुंचेगी शहरी सुविधाएं
SCR योजना का एक महत्वपूर्ण उद्देश्य है—संतुलित क्षेत्रीय विकास। लखनऊ के साथ-साथ आसपास के जिले जैसे बाराबंकी, हरदोई, रायबरेली आदि में भी समान रूप से विकास होगा। गांवों में भी शहरी सुविधाएं पहुंचेंगी। स्थानीय रोजगार, व्यापार, और आवास के नए अवसर मिलेंगे। लखनऊ पर जनदबाव घटेगा, और अन्य जिलों में भी जीवन स्तर सुधरेगा।
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